लखनऊ : पंजाब और छत्तीसगढ़ की सरकारों ने उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में रविवार 3 अक्टूबर को हुई हिंसा में मारे गए किसानों के परिजन को 50-50 लाख रुपये की सहायता राशि देने का ऐलान किया है। दोनों राज्य किसानों के परिजनों और मारे गए एक पत्रकार के परिवार को अलग-अलग 50-50 लाख रुपये यानी कुल मिलाकर 1-1 करोड़ रुपये की सहायता राशि देंगे।
रविवार की घटना के बाद से ही लगातार लखीमपुर खीरी में किसान नेताओं और प्रशासन के बीच काफी तनातनी चल रही थी। आखिरकार सोमवार शाम दोनों पक्षों में सहमति बनी और सरकार ने प्रत्येक मृतक के परिजनों को 45-45 लाख रुपये और एक व्यक्ति को स्थानीय स्तर पर सरकारी नौकरी देने का आश्वासन दिया। इसके अलावा घायलों के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने 10-10 लाख रुपये का मुआवजे की भी घोषणा की हुई है।
लखीमपुर खीरी जाने के लिए पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के साथ बुधवार को लखनऊ पहुंचे पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने संवाददाताओं से कहा कि जिन किसानों की हत्या की गई है, पंजाब सरकार उनके साथ है। हमारी सरकार लखीमपुर में शहीद हुए चार किसानों और एक पत्रकार के परिजन को 50-50 लाख रुपये की सहायता देगी।
चन्नी के साथ लखनऊ पहुंचे छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी लखीमपुर खीरी हिंसा में मरे चार किसानों और एक पत्रकार के परिजन को 50-50 लाख रुपये की सहायता देने का ऐलान किया है।
पंजाब के मुख्यमंत्री चन्नी ने कहा, ‘‘जिस तरह जलियांवाला बाग में जनरल डायर ने गोलियां चलाकर बेकसूर लोगों को मारा था, उसी तरीके से सत्तारूढ़ भाजपा ने लोकतांत्रिक व्यवस्था का मजाक उड़ाया है. यह तानाशाही नहीं चलेगी।’’
बघेल ने कहा कि लखीमपुर में जो हृदय विदारक घटना घटी, उससे पूरा देश दहल गया है। सारे किसान आक्रोशित हैं और उन पीड़ित परिवारों के साथ पूरा देश खड़ा है। गौरतलब है कि पिछले रविवार को लखीमपुर खीरी जिले के तिकोनिया क्षेत्र में हुई हिंसा में चार किसानों समेत आठ लोगों की मौत हो गई थी।